हार्ट अटैक को लेकर लोगों में डर उभरने लगा है।और इससे डरना लाजमी भी है,क्योंकि अब ये बीमारी 35 से 55 के उम्र वाले लोगों में भी देखने को मिल रही है।आप को बता दें की हार्ट अटैक अब सिर्फ बूढ़ों और वृद्धों की बीमारी नही रह गई।
दुनिया में बीमारियों से मरने वाले लोगों में 28 प्रतिशत लोग हृदय रोग से मारे जाते हैं।जिनमे से 35 से 55 वर्षों के बीच में हार्ट अटैक वाले लोगो का प्रतिशत 32% तक है।
नमस्कार!दोस्तों मैं हूं नेहा और मैं हाजिर हूं आपके साथ कुछ ऐसी बातों पर चर्चा करने को जो heart attack संबधी समस्याएं , इनके कारण,हार्ट अटैक के लक्षण,और प्राथमिक कदमों के बारे में अवगत कराएंगी।
दोस्तों हार्ट अटैक ऐसी समस्या है,जिसके होने पर व्यक्ति का ह्रदय काम करना बंद कर देता है।इस स्तिथि में हृदय खून को पंप करना बंद कर देता है और शरीर में रक्त का प्रवाह रुक जाता है।हृदय के काम बंद कर देने की स्तिथि कई कारणों से हो सकती है,गलत खान पान,जैसे धमनियों में ब्लॉकेज,नसों का फैट जाना,कोलेस्ट्रोल का बढ़ना,हृदय को ऑक्सीजन न मिल पाना,ब्लड में टॉक्सिंस का होना,रक्त का थक्का जम जाना आदि।
दोस्तों आइए जानते है कुछ ऐसे महत्वपूर्ण कारण जिनसे हार्ट अटैक होने के खतरे बढ़ जाते है।
डायबिटीज
ऐसे व्यक्ति जिनको डायबिटीज जैसी बीमारी है। उनमें औरों के मुकाबले हार्ट अटैक आने के चांस ज्यादा होते है। दोस्तों डायबिटीज में शरीर में धमनियों मैं ब्लॉकेज की समस्या हो सकती है जिससे हार्ट अटैक आ सकता है। डायबिटीज में शरीर में शुगर की मात्रा अधिक होने पर हृदय का स्वास्थ्य बिगड़ जाता है और हार्ट फेल जैसी समस्याएं हो सकती हैं।
डिप्रेशन
ऐसे लोग जो डिप्रेशन, तनाव और एंजाइटी से गुजर रहे हैं, ऐसे लोगों में heart attack के खतरे बढ़ जाते हैं। अधिक तनाव रक्त की प्लेटलेट्स को चिपचिपा कर सकता है जिससे रक्त का गाढ़ापन और लो ब्लड प्रेशर हो सकता है। इससे हॉट को ज्यादा दबाव सहना पड़ता है।यही कारण है की डिप्रेशन में चल रहे लोगों की अक्सर हार्ट अटैक या हार्ट फेल होने की खबरे सामने आती हैं।
मोटापा
शरीर का बढ़ता वजन और मोटापा भी हार्ट अटैक का कारण बन सकता है। अधिक फैट शरीर को टॉक्सिक और ब्लड में भी टॉक्सिंस की मात्रा बढ़ता है। मोटापा अधिक होने पर नसों के बीच फैट का इकट्ठा होना रक्त प्रवाह में रुकावट पैदा करता है। जिससे नसों मे प्रेशर बनाने पर नसे फट सकती हैं और हार्ट अटैक आ सकता है।शरीर का बढ़ता वजन एलडीएल, ट्राइग्लिसराइड की मात्रा को भी बढ़ाता है जो हृदय के लिए बिल्कुल भी ठीक नहीं हैं।
धूम्रपान
धूम्रपान करना भी हृदय के स्वास्थ्य को प्रभावित करता है। धूम्रपान करने से ब्लड में टॉक्सिंस फेफड़े की स्थिति खराब होना जैसी दिक्कतें आती हैं। ऐसे में हृदय को सुचारू रूप से काम करने के लिए जितने ऑक्सीजन की आवश्यकता होती है उतनी नहीं मिल पाती और फल स्वरुप एक समय बाद हृदय की मांसपेशियां स्वस्थ पढ़कर हार्ट अटैक या हार्ट फ़ैल जैसी स्थिति पैदा कर सकती
हाई ब्लड प्रेशर
शरीर में हाई ब्लड प्रेशर की वजह से हृदय पर सीधा जोर पड़ता है। हाई ब्लड प्रेशर में धमनियों में अधिक दाब और रक्त की गति को सामान्य से ज्यादा होने से हृदय सुचारू रूप से काम नहीं कर पाता और ऐसे में खून का पंप सही से न होने से कोशिकाओं तक ऑक्सीजन पर्याप्त मात्रा में नहीं पहुंच पाती। ऐसी स्थिति में नसों का फटना और हृदय की कोशिकाओं में ऑक्सीजन की कमी हार्ट अटैक का मुख्य कारण बन सकती है।
कोलेस्ट्रॉल का बढ़ना
बदलते खान-पान और व्यस्त दिनचर्या करण शरीर में कोलेस्ट्रॉल की मात्रा बढ़ती है। रिफाइंड ऑयल और जंक फूड जैसे चीज शरीर में कोलेस्ट्रॉल की मात्रा को बढ़ती है जिससे यह कोलेस्ट्रॉल धीरे-धीरे हमारी नसों में इक्कठा होने लगता है। और नसों में ब्लॉकेज और नसों के रास्तों को पतला बनता है। जिससे रक्त के प्रवाह में बाधा उत्पन्न होती है,और नसों का फट जाना ,हृदय का खून पंप करना बंद कर देना जैसी स्तिथि उत्पन्न हो सकती है।
दोस्तों ये थे कुछ मुख्य कारक जो हार्ट अटैक के लिए जिम्मेदार होते है।
आइए जानते कुछ ऐसे लक्षणों के बारे में जो heart attack के खतरे को सूचित करते हैं।
जैसे –
•ब्लड प्रेसर का एकदम से लो या हाई होना
•सीने में दर्द होना
•एकदम से पसीना आना
•हाथ ,पैर और सीने में सनसनाहट के साथ खिंचाव होना
• अचानक से चक्कर आना
• पेट की निचले हिस्सों में दर्द
• सांस लेने में तकलीफ होना
इन्ही कुछ लक्षणों से पता चलता है की हार्ट अटैक होने के खतरे हैं।कभी कभी हार्ट अटैक बिना संकेत के भी हो सकता है जिसे silent heart attack कहते हैं।अगर ऊपर दिए हुए लक्षण महसूस हो तो बिना देरी किए डॉक्टर को दिखाएं जो सही समय पर इसकी असली वजह बता पाएंगे।
हम अपने जीवन शैली को सुधारने और हृदय के स्वास्थ्य को बेहतर बनाए रखने के लिए दिनचर्या में कुछ बदलाव करने होंगे।इन्ही चीजों से हम हार्ट अटैक के जैसी जानलेवा बीमारी को होने से रोक सकते हैं।
•डायबिटीज में शुगर को कंट्रोल रखें
•ब्लड प्रेशर को सामान्य रखने के लिए उपचार करें
•धूम्रपान करना बंद करें
•जंक फूड को अवॉइड करें
•फैट और कोलेस्ट्रॉल को नियंत्रित रखें
•रोजाना व्यायाम करें
•वजन को सामान्य रखें मोटापे पर नियंत्रण रखें ।
मित्रों ये थीं कुछ सावधानियां और तरीके जिनसे हार्ट अटैक के दर को काफी हद तक रोका जा सकता है।ये हमारे जीवनशैली में शामिल कुछ चीजें है जिन्हे नियंत्रित रख कर रख कर हम हार्ट अटैक से बच सकते है और दूसरों को बता कर बचा सकते है
मिलते हैं दोस्तों फिर किसी अच्छी सी जानकारी के साथ तब तक आज्ञा दीजिए मैं हूं नेहा और आपने मेरे साथ जाना हार्ट अटैक के बारे में कुछ जरूरी बातें।आपने इस लेख को बड़े ध्यान और धैर्य से पढ़ा आपका बहुत आभार नमस्कार।